Saturday, April 19, 2025
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निवेश को स्थिर बनाने के लिए गोल्ड से डायमण्ड ज्वैलरी खरीद की ओर निवेश करना होगा: श्रेयांश कपूर…

सोना बनने जा रहा है लखटकिया, नेशनल गोल्ड आउटलुक मुंबई में श्रेयांश कपूर ने किया बड़ा ऐलान। काउंसिल द्वारा हुए सम्मानित ।

स्वराज इंडिया संवाददाता, कानपुर। मैनेजिंग पार्टनर काशी ज्वैलर्स, श्रेयांश कपूर को नेशनल गोल्ड आउटलुक के तीसरे एडिशन के दौरान जियो कंवेन्शन सेंटर मुंबई में हुए एक भव्य समारोह में गोल्ड ज्वैलरी उद्योग में अपने अनुभव और सुझाव से जो गति और दिशा प्रदान की है उससे उद्योग जगत को काफी फायदा पहुंचा है। चर्चा के दौरान गोल्ड ज्वैलरी उद्योग के विशिष्ट विशेषज्ञ ने दमदार बयान देते हुए कहा कि सोना लखटकिया के करीब है। जिसमे आम ग्राहक को गर्मी की सहालग के मद्देनज़र अपनी जरूरतों के हिसाब से गोल्ड ज्वैलरी खरीद में अपने निवेश को स्थिर बनाने के लिए गोल्ड ज्वैलरी से डायमण्ड ज्वैलरी खरीद की ओर निवेश करना होगा। जिससे गोल्ड की तुलना में कम कीमत पर डायमण्ड ज्वैलरी की खरीद ग्राहक की जरूरत को पूरा करने में सहयोग करेगी।
ऐसे माहौल में उपभोक्ताओं के अनुकूल और बाज़ार को संतुलित स्थिति में बनाने के लिए एक संवाद गोष्ठी का आयोजन कामाख्या गोल्ड आउटलुक के डायरेक्टर श्री मनोज कुमार झा व श्रीमती पूनम झा ने मुंबई स्थित जियो कंवेंशन सेंटर में दिनांक 11 अप्रैल 2025 को हुआ। जिसमें ज़ी बिज़नेस, सीएनबीसी, एटी नाउ व अनेक विशिष्ट संपादक, बुद्धिजीवी एवं अर्थशास्त्री देशभर के दिग्गज ज्वैलर्स, बुलियन एक्सपर्ट एनालिस्ट और बैंकर सम्मिलित हुए।
काशी ज्वैलर्स के श्रेयांश कपूर ने बताया कि अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की टैरिफ नीति जियो पॉलिटिकल टेंशन, सेंट्रल बैंको की खरीदारी, डॉलर का एकाधिकार कम होने जैसे अहम मुद्दों पर चर्चा हुई। जिसके कारण वैश्विक स्तर पर सोने की मांग में जबरदस्त इजाफा हुआ है। काशी ज्वैलर्स के मैनेजिंग पार्टनर श्री श्रेयांश कपूर जी ने ज़ी बिज़नेस, सीएनबीसी एवं एटी नाउ पर अपने विचार रखते हुए बताया कि भारत सोने की जरूरत का 80 प्रतिशत से अधिक आयात करता है। जिसके कारण निवेशक सोने की खरीद में दिलचस्पी दिखा रहे हैं।
सहालग को देखते हुए सोने के साथ-साथ डायमण्ड ज्वैलरी में निवेश करना और अपने बजट में अपनी पसंद की ज्वैलरी 18 कैरेट, 14 कैरेट जो कि भारत सरकार द्वारा तय मानकों के अनुरूप कम कीमत पर व 100 प्रतिशत एक्सचेंज पॉलिसी के साथ काशी ज्वैलर्स में उपलब्ध हैं।
साथ ही साथ चांदी के भाव व उसके ट्रेंड को ध्यान में रखते हुए चांदी के आभूषण खासतौर पर गले का सेट, कान के बाले, टॉप्स व अंगूठी आदि बहुत सुंदर और आकर्षक डिज़ाइन में डायमण्ड ज्वैलरी कारीगरों द्वारा निर्मित की गई हैं। पायल, बिछिया, सिल्वर ट्रे ग्लास और बहुत से गिफट आइटम चांदी में उपभोक्ताओं की जरूरतों को ध्यान में रखकर बनाये गये हैं। उपलब्ध हैं। उपभोक्ताओं से आग्रह है कि विश्वसनीय ज्वैलर्स से खरीदकर अपने निवेश को सुरक्षित करें। कार्यक्रम के आखिरी में कामाख्या ज्वैलर्स की डायरेक्टर पूनम झा व मनोज कुमार झा ने सभी का धन्यवाद करते हुए कामना कि एक मंच पर ऐसे प्रोफेशनल्स को इकट्ठा करना जो गोल्ड मार्केट में अहम भूमिका निभा रहे हैं और आगे भी बड़ी भूमिका निभाएंगे।

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