
जमशेदपुर। पद्म विभूषण और देश के सबसे बड़े कारोबारी ट्रस्ट टाटा संस के मानद चेयरमैन रतन नवल टाटा का निधन हो गया। वे 86 साल के थे। तबीयत बिगड़ने के कारण उन्हें टाटा मुंबई के ब्रीज कैंडी अस्पताल में भर्ती कराया गया था। बढ़ती उम्र के कारण उन्हें कई तरह की परेशानियां थीं। टाटा संस के चेयरमैन रतन टाटा अंतिम बार 2 और 3 मार्च 2021 में झारखंड आए थे, जब उन्होंने जमशेदपुर में आयोजित कई कार्यक्रमों में हिस्सा लिया था।

खबर सुनते ही लोगों के आंखों से छलके आंसू
पद्म विभूषण रतन टाटा के निधन की खबर देर रात मिलते ही शहर के लोग पूरी तरह से स्तब्ध रह गए। हालांकि लोगों को यह पहले से ही जानकारी थी कि रतन टाटा पिछले दो दिनों से काफी बीमार चल रहे हैं और उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया है। लेकिन जैसे ही उनके निधन की खबर मिली, टाटा समूह में काम करने वाले कई अधिकारी-कर्मचारी और उनके साथ काफी वक्त बिताने वाले शहर के कई लोगों के आंखों से आंसू छलक आए।
2 मार्च 2021 को अंतिम बार आए थे झारखंड
रतन टाटा अंतिम बार 2 मार्च 2021 को झारखंड आए थे। तब उन्होंने जमशेदपुर में नवल टाटा हॉकी अकादमी के नवनिर्मित भवन, आईआईटी सेंटर और टाटा कंपनी में एक आधारभूत संरचना के उद्घाटन कार्यक्रम में हिस्सा लिया था। इसके बाद 3 मार्च को टाटा समूह के स्थापना दिवस पर जमशेदपुर में आयोजित कार्यक्रम भी शामिल हुए थे। इस दौरान उनकी तबीयत थोड़ी ठीक नहीं थी, जिसके कारण ज्यादा लोगों से मिलजुल नहीं सके।

हेमंत सोरेन झारखंड में एक दिवसीय शोक का किया ऐलान
झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने रतन टाटा के निधन पर शोक जताया है। उन्होंने कहा- ‘झारखंड जैसे देश के पिछड़े राज्य को विश्व में पहचान दिलाने वाले टाटा समूह के पूर्व चेयरमैन और पद्मविभूषण रतन टाटा के देहावसान पर एकदिवसीय राजकीय शोक की घोषणा की जाती है।